मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का बड़ा ऐलान: नए टैक्स नहीं, आय और बजट दोगुना करने की रणनीति

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का बड़ा ऐलान: नए टैक्स नहीं, आय और बजट दोगुना करने की रणनीति 


 ऐलान का मुख्य उद्देश्य

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने राज्य के आर्थिक और सामाजिक विकास के लिए एक महत्वाकांक्षी योजना की घोषणा की। उन्होंने स्पष्ट किया कि अगले पांच वर्षों में प्रदेश का वार्षिक बजट दोगुना किया जाएगा, लेकिन इसके लिए कोई नया टैक्स नहीं लगाया जाएगा। इसका मुख्य फोकस नागरिकों की आय बढ़ाने और सरकारी योजनाओं के माध्यम से उन्हें आर्थिक रूप से सशक्त बनाने पर होगा।  

 बजट विस्तार और आय बढ़ाने की रणनीति 

सीएम यादव के अनुसार, वर्तमान में मध्यप्रदेश का सालाना बजट लगभग 3.5 लाख करोड़ रुपये है, जिसे अगले पांच साल में 6-7 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचाने का लक्ष्य है। इसके लिए सरकार मौजूदा संसाधनों का कुशल उपयोग करेगी और जनता की क्रय शक्ति बढ़ाने पर जोर देगी। उन्होंने कहा, "नए टैक्स से बचते हुए बजट बढ़ाने का आधार जनता की बढ़ती आय होगी। इसके लिए हम योजनाओं को और प्रभावी ढंग से लागू करेंगे।"  

 भोपाल का विकास और ऐतिहासिक परियोजनाएं  

मुख्यमंत्री ने भोपाल को एक आधुनिक मेट्रोपॉलिटन सिटी बनाने की योजना का खुलासा किया। इसमें दो प्रमुख परियोजनाएं शामिल हैं:  
1. भोज द्वार: भोजपुर मंदिर रोड पर बनने वाला यह प्रवेश द्वार राज्य की सांस्कृतिक विरासत को प्रदर्शित करेगा।  
2. विक्रम द्वार: इंदौर-उज्जैन मार्ग पर राजा विक्रमादित्य के सुशासन को समर्पित यह स्मारक ऐतिहासिक गौरव को जीवंत करेगा।  
इसके अलावा, भोपाल की झीलों और तालाबों के संरक्षण पर विशेष ध्यान दिया जाएगा। सीएम ने इस बात पर गर्व जताया कि भोपाल भारत का एकमात्र शहर है जहां मनुष्य और बाघों का सह-अस्तित्व बना हुआ है।  

 आर्थिक विकास में GIS 2023 की भूमिका 

ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (GIS) 2023 की सफलता का जिक्र करते हुए सीएम यादव ने कहा कि भोपाल की प्राकृतिक सुंदरता और संस्कृति ने वैश्विक निवेशकों को आकर्षित किया है। उन्होंने भरोसा दिलाया कि यह निवेश राज्य में रोजगार और पर्यटन के नए अवसर लाएगा। साथ ही, उन्होंने मध्यप्रदेश को भारत की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने के राष्ट्रीय लक्ष्य में अग्रणी भूमिका निभाने का संकल्प दोहराया।  

 आलोचकों के सवाल और जनता की प्रतिक्रिया 

हालांकि, कुछ आर्थिक विशेषज्ञों ने बिना नए टैक्स के बजट दोगुना करने की योजना पर सवाल उठाए हैं। उनका मानना है कि राजस्व बढ़ाने के लिए वैकल्पिक स्रोतों की तलाश जरूरी है। वहीं, आम जनता और व्यापारियों ने नए कर न लगाने के फैसले का स्वागत किया है। पर्यटन क्षेत्र से जुड़े हितधारकों को उम्मीद है कि भोपाल के विकास से राज्य में पर्यटन उद्योग को नई गति मिलेगी।  

 निष्कर्ष: एक साहसिक आर्थिक मॉडल 

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का यह ऐलान न केवल मध्यप्रदेश बल्कि पूरे देश के लिए एक नए आर्थिक मॉडल की नींव रखता है। यदि नागरिकों की आय बढ़ाकर बजट विस्तार की योजना सफल होती है, तो यह अन्य राज्यों के लिए भी एक मिसाल बनेगी। साथ ही, भोपाल को विरासत और आधुनिकता के समन्वय वाले शहर के रूप में विकसित करने की पहल राज्य की पहचान को ग्लोबल स्तर पर मजबूती देगी।

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